Wi-Fi हमारे रोज के जीवन में शामिल हो गया है। यह एक Wireless Networking तकनीक है जो कंप्यूटर, लैपटॉप, डेस्कटॉप, मोबाइल और अन्य Device जैसे प्रिंटर और वीडियो कैमरा जैसे Device को इंटरनेट के साथ जोड़ने की अनुमति देता है।
इस लेख में हम आप Wi-Fi क्या है, वाईफाई कैसे काम करता है, इसके प्रकार, फायदे और नुकसान आदि की जानकारी को पढ़कर समझेंगे
Wi-Fi Network क्या है
Wi-Fi Network एक इंटरनेट कनेक्शन है जिसे Wireless Router के माध्यम से घर या कहीं भी किसी भी डिवाइस के साथ कनेक्ट किया जाता है। यह एक Wireless Local Area Network तकनीक है जो किसी भी डिवाइस को रेडियो तरंगों का उपयोग करके नेटवर्क तक पहुंचने या कनेक्ट करने की अनुमति देता है।
Router सीधे आपके इंटरनेट Modem से जुड़ा होता है और आपके सभी Wi-Fi Device पर इंटरनेट सिग्नल देने के लिए एक हब के रूप में कार्य करता है। यह आपको तब तक इंटरनेट से जुड़े रहने की सुविधा देता है जब तक आप अपने नेटवर्क कवरेज क्षेत्र में होते है।
इसका उपयोग अलग-अलग डिवाइस जैसे कंप्यूटर, स्मार्टफोन, टीवी, वीडियो गेम कंसोल इत्यादि पर किया जा सकता है।
Wi-Fi का इतिहास
सन 1997 में सबसे पहले Wi-Fi तकनीक को लोगों के इस्तेमाल के लिए Commercial तौर पर रिलीज किया गया था। हालांकि इस तकनीक का आविष्कार बहुत पहले ही कर लिया गया था और इसका क्रेडिट बहुत से लोगों को जाता है।
1971 से लेकर 1991 तक Wi-Fi तकनीक को विकसित करने के लिए बहुत से लोगों ने और कंपनी ने इस तकनीक पर काम किया है। जिसमें ऑस्ट्रेलिया के रेडियो खगोल विज्ञानी John O’Sullivan के साथ-साथ उनके साथ काम करने वाले John Deane का नाम प्रमुख रूप से लिया जाता है।
साल 1999 में एक संस्था जो गैर लाभकारी संस्था Wi-Fi Alliance ने एक Trade Association का गठन किया था ताकि Wi-Fi Trademark को Registered किया जाए। यह एक गैर लाभकारी संस्था है जो आज भी Wi-Fi Technology को Promote करती है और साथ ही बाजार में जितने भी Wi-Fi Technology पर चलने वाले प्रोडक्ट है उन्हें Certificate भी देती है।
2009 में एक Version Wi-Fi आया जिसे 802.11n कहा गया। जो अपनी पुरानी तकनीक से अधिक बेहतर और तेज था और इसी वजह से एक समस्या सामने आई जो Overcrowded की समस्या था। जब 2.4Ghertz पर काम करने वाले Device की संख्या में इजाफा होने लगा क्योंकि हर आदमी के पास किसी ना किसी तरह की Wi-Fi डिवाइस थी जो इसी Frequencies पर काम करती थी तो एक दूसरे उपकरण आपस में एक दूसरे को बाधित करने लगे जिसकी वजह से उपकरणों की कार्यकुशलता पर इसका असर होने लगा।
अब अगर हम आज के समय में Wi-Fi की भूमिका की बात करें तो आज करीब हर जगह Wi-Fi Connectivity की सुविधा है। बहुत से रेलवे स्टेशन, पब्लिक जगह पर आपको Hotspot की सुविधा मिल जाती है और इस क्षेत्र में लगातार विस्तार ही हो रहा है क्योकि यह इस्तेमाल में आसान और तेज है।
Wi-Fi के Components
Wi-Fi की कंपोनेंट्स में निम्नलिखित शामिल है :
Wireless Access Point
वायरलेस नेटवर्क से कनेक्ट करने के लिए वायरलेस डिवाइस को अनुमति देने के लिए एक Wireless Access Point का उपयोग किया जाता है। नेटवर्क में वायरलेस एक्सेस प्वाइंट का कार्य एक होम स्टीरियो के भीतर Amplifier के कार्य के समान है।
वायरलेस एक्सेस प्वाइंट सुरक्षा प्रदान करने के साथ-साथ व्यावहारिक उद्देश्य के लिए उपयोग किए जाने वाले नेटवर्क पर डिवाइस के बारे में बहुत उपयोगी डाटा देता है।
Wi-Fi Card
यह कार्ड वायरलेस सिग्नल के साथ-साथ रिले की जानकारी के अनुमति देता है जो आंतरिक या बाहरी हो सकता है। वाईफाई कार्ड को Adapter के रूप में भी जाना जाता है।
Safety
फायरवॉल और एंटीवायरस जैसे सॉफ्टवेयर जो यूजर्स को सुरक्षा प्रदान करते हैं और जानकारी को सुरक्षित रखते हैं।
Wi-Fi के प्रकार
आज Wi-Fi टेक्नॉलॉजी के चार प्रमुख प्रकार है
1. Wi-Fi 802.11a :
802.11a वायरलेस तकनीक की श्रृंखला में से एक है। यह Wi-Fi Networking Router और एंटीना द्वारा भेजे गए रेडियो सिग्नल के रूप और संरचना को प्रभावित करता है।
2. Wi-Fi 802.11b :
802.11b वायरलेस तकनीक की संख्या में से एक है। 802.11b बैंडविथ 11mbps Frequency Spectrum में सिग्नल 2.4Ghz के आसपास है। Wi-Fi 802.11a की तुलना में यह कम Frequency है। इसका मतलब यह है कि यह उचित दूरी पर काम करता है और इसकी लागत कम होती है।
3. Wi-Fi 802.11g :
यह 802.11a और 802.11b की बेहतरीन टेक्नोलॉजी है। 802.11b सपोर्ट बैंडविथ 54mbps तक और यह अधिक रेंज के लिए 2.4Ghz Frequency का उपयोग करता है। इसकी लागत 802.11b से अधिक है और इसकी गति अधिक तेज है।
4. Wi-Fi 802.11n :
802.11n नई वाईफाई तकनीक है। इसे 802.11g पर सुधार करने के लिए डिजाइन किया गया था। यह 100mbps बैंडविथ और बहुत अधिक तेज सिग्नल का समर्थन करता है।
Wi-Fi कनेक्शन के प्रकार
घर पर वायरलेस तरीके से Wi-Fi कनेक्ट करने के विकल्प दिन प्रतिदिन बढ़ रहे हैं। वायरलेस कनेक्शन के कुछ प्रकार नीचे दिए गए हैं :
1. Mobile Hotspot/Jetpack
हॉटस्पॉट चलते-फिरते सुरक्षित रूप से इंटरनेट से जोड़ने का लोकप्रिय तरीका बनते जा रहा है। आज किसी भी ऐसे स्मार्टफोन या टैबलेट का उपयोग अस्थाई हॉटस्पॉट के रूप में किया जा सकता है। इसका उपयोग करना आसान है और इसके लिए कोई अलग से डिवाइस खरीदने की आवश्यकता नहीं है। लेकिन यह आपके बैटरी लाइफ और डाटा को बहुत तेजी से समाप्त कर सकता है।
एक Jetpack एक मोबाइल हॉटस्पॉट के रूप में कार्य करता है जो आपके स्मार्टफोन की तरह है आपके क्षेत्र में तारों से सिग्नल प्राप्त करता है। यह Wi-Fi कि अधिक रेंज प्रदान करता है। चुकी यह एक अलग डिवाइस होता है इसलिए आपके स्मार्टफोन की बैटरी लाइफ ज्यादा Effect नहीं होती है।
2. 5G Home Internet
5G होम इंटरनेट 4G नेटवर्क का अगला वर्जन है। यह वायरलेस नेटवर्क पर शक्तिशाली radio-frequency के एक नए Spectrum का उपयोग करते हुए यह 4G से अधिक क्षमता काफी तेज गति प्रदान करता है। 5जी को इस तरह से बनाया गया है कि यह 4G नेटवर्क से 100 गुना ज्यादा ट्रैफिक देता है।
3. Wire line/Router
Router वह छोटे इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस होते हैं जो वायर्ड या वायरलेस कनेक्शन के माध्यम से कोई कंप्यूटर नेटवर्क से कनेक्ट करते हैं। अधिकांश घरों में इन दिनों इंटरनेट का उपयोग करने के लिए वायरलेस राउटर का उपयोग किया जाता है।
4. 4G Lte Home Internet
LTE Support होने के बाद फोन में अधिकतम 100 से 150 मेगाबाइट्स प्रति सेकंड की अधिकतम डाटा स्पीड मिल सकती है। यह लगभग 25mbps औसत डाउनलोड गति के साथ सेल फोन टावर और मोबाइल नेटवर्क इंटरनेट सेवा प्रदान करता है।
Wi-Fi कैसे काम करता है
क्या आपने कभी सोचा है कि वायरलेस डिवाइस एक दूसरे से कैसे जोड़ते हैं?
इसका सीधा सा जवाब है Wi-Fi तकनीक के जरिए। रेडियो तरंगों के माध्यम से अलग-अलग Device को Signal भेजे जाते हैं। इन तरंगों को प्राप्त करने के लिए डिवाइस को सेट करने की आवश्यकता होती है।
Wi-Fi Frequency Range 2.4Ghz और 5Ghz है। यह वॉकी टॉकी, मोबाइल फोन, टीवी के लिए उपयोग की जाने वाली Frequency से अधिक है।
आइए हम बताते हैं कि Wi-Fi कैसे काम करता है?
- आमतौर पर एक Fiber Cable या Analog Line Broadband mode की तरह एक इंटरनेट स्रोत को जोड़ता है।
- Wi-Fi Router वह माध्यम है जो वाइड एरिया नेटवर्क पोर्ट के जरिए इंटरनेट कनेक्शन प्राप्त करता है।
- Wi-Fi आपके वायरलेस राउटर से आपकी टीवी, स्मार्टफोन, टैबलेट और कंप्यूटर जैसे Wi-Fi सक्षम डिवाइस पर डाटा Communicate करने के लिए रेडियो तरंगों का उपयोग करता है क्योंकि वह एक दूसरे के साथ Airway से कनेक्ट होते हैं।
- Wi-Fi Router दो तरफा Communication स्थापित करने के लिए कंप्यूटर, फोन या अन्य डिवाइस में एक कार्ड या Adopter को रेडियो तरंगों के माध्यम से वायरल सिग्नल
Wi-Fi Technology के लाभ
Wi-Fi तकनीक के फायदों में निम्नलिखित शामिल है :
- वायरलेस होने की वजह से हम कहीं भी इसका उपयोग आसानी से कर सकते हैं।
- Wi-Fi Setup और Configuration केबलिंग प्रक्रिया की तुलना में आसान है।
- यह पूरी तरह से सुरक्षित है और यह किसी भी नेटवर्क में हस्तक्षेप नहीं करता है।
- हम Hotspot के माध्यम से भी इंटरनेट कनेक्ट कर सकते हैं।
- हम इंटरनेट को वायरलेस तरीके से कनेक्ट कर सकते हैं।
Wi-Fi के नुकसान
वाईफाई तकनीक के नुकसान में निम्नलिखित शामिल है :
- वाईफाई Radiation उत्पन्न करता है जो हम लोगों के स्वास्थ्य को नुकसान पहुंचा सकता है।
- जब भी हम Server का उपयोग नहीं कर रहे हो तो हमें Wi-Fi कनेक्शन को Disconnect कर देना चाहिए।
- डाटा ट्रांसफर करने की इसमें भी कुछ सीमाएं हैं। हम लंबी दूरी के लिए डाटा ट्रांसफर करने में सक्षम नहीं है।
Wi-Fi का इस्तेमाल क्यों होता है
1. Access
Wi-Fi एक बिना तार के इंटरनेट को इस्तेमाल करने की प्रक्रिया है। बिना तार होने के वजह से इसके इंटरनेट की स्पीड तेज होती है और आप जहां भी चाहे इसका इस्तेमाल कर सकते हैं। जो कि तार वाले इंटरनेट कनेक्शन में संभव नहीं है।
2. Distribution
अगर Wi-Fi की बात की जाए तो बिना तार के इस्तेमाल होने की वजह से इसका वितरण भी बहुत आसान होता है इसलिए इसकी पहुंच दिन प्रतिदिन बढ़ती जा रही है।
3. Price
Wi-Fi को लगाने में तार का इस्तेमाल नहीं होता तो इसको लगाने के लिए आपको कोई Charge भी नहीं देना पड़ेगा और ना ही कोई अलग से सामान की जरूरत पड़ेगी। इससे इसकी कीमत पर बहुत फर्क पड़ता है और यह आपको आसानी से कम कीमत पर मिल पाता है।
आशा है Wi-Fi की जानकारी आपको पसंद आयी होगी।
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